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खेती बचाओ देश बचाओ संघर्ष में किसानों के साथ खड़े हों छात्र और युवा भी - रामगोविन्द चौधरी धरना और प्रदर्शन लोकतन्त्र की आत्मा, सरकार केवल किसानों को नहीं लोकतन्त्र की आत्मा को कुचल रही है - नेता प्रतिपक्ष लखनऊ। नेता प्रतिपक्ष, उत्तर प्रदेश रामगोविन्द चौधरी ने अपनी पीड़ा कहने के लिए दिल्ली आ रहे किसानों के साथ सरकार का पशुवत व्यवहार लोकतन्त्र को शर्मसार करने वाला है। इसकी जितनी भी निंदा की जाए कम है। उन्होंने शिक्षकों, बुद्धिजीवियों, कवियों, छात्रों, नवजवानों, कर्मचारियों, मजदूरों, बेरोजगारों और गैर कारपोरेट व्यवसासियों से कहा है कि वह इस लड़ाई में किसानों की मदद करने के लिए आगे आएं, नहीं तो यह सरकार खेती बारी के साथ ही देश को भी निगल जाएगी। शनिवार को दिल्ली आ रहे किसानों के साथ हो रहे प्रदेश रामगोविन्द चौधरी ने कहा कि वर्तमान सरकार धीरे धीरे देश का सर्वस्य अडानी, अम्बानी जैसे कारपोरेट घरानों को सौंप रही है। इसी क्रम में वह एक काला कानून बनाकर खेती को भी देशी विदेशी कारपोरेट घरानों को देने पर आमादा है। सरकार के इस काले कानून से खेती बारी को बचाने की गुहार करने के लिए किसान दिल्ली आ रहा है और चीन के प्रधानमंत्री को बुलाकर झूला झुलाने वाली अडानी और अम्बानी जैसों की सरकार उनके साथ दुश्मन जैसा व्यवहार कर रही है। इसे किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है। नेता प्रतिपक्ष, उत्तर प्रदेश रामगोविन्द चौधरी
